४. हे राजा राम तेरी आरती उतारूँ
हे राजा राम तेरी आरती उतारूँ |
आरती उतारूँ तनमन वारूँ |
हे राजा राम तेरी आरती उतारूँ ॥ धृ
कनक सिंहासन राजत जोरी ,
दशरथनंदन जनककिशोरी
हे राजा राम तेरी आरती उतारूँ ॥ १ ॥
वामभाग शोभित जगजननी ,
चरण विराजत है सुतअंजनी
हे राजा राम तेरी आरती उतारूँ ॥ २ ॥
छन छन प्रति यह रूप निहारूँ ,
प्रभु पद कंचन नकै बिसारूँ |
सुंदरतापर त्रिभुवन वारूँ ,
हे राजा राम तेरी आरती उतारूँ ॥ ३ ॥
आरती उतारूँ तनमन वारूँ |
हे राजा राम तेरी आरती उतारूँ ॥
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